जानिए बॉलीवुड के कॉमेडी किंग जॉनी लीवर के परिवार के बारे में।

फिल्मी दुनिया में अक्सर लोग किया तो हीरो को याद रखते हैं या फिर हीरोइन को और यह एक स्वाभाविक बात है क्योंकि फिल्मों के शुरुआत से लेकर अभी तक पर्दे पर सिर्फ वही दिखाई देते हैं लेकिन हमें यह नहीं भूलना चाहिए की सहायक किरदारों के बिना कोई भी फिल्म अधूरी होती है खासकर हास्य कलाकार की योगदान के बिना फिल्म लगभग अधूरी होती है आज हमें कैसे ही सहायक और हास्य कलाकार की बात करने वाले हैं जिसका जीवन संघर्षों से भरा रहा।

उसने मुख्य रूप से फिल्मों में एक हाथ से कलाकार की भूमिका निभाई है और अपने अभिनय से लोगों के दिलों पर राज किया है जी हान दोस्तों हम बात कर रहे हैं मशहूर कॉमेडियन और 90 के दशक के कॉमेडी किंग जॉनी लीवर के बारे में शायद ही कोई ऐसा व्यक्ति होगा जो उन्हें नहीं जानता होगा अपने दमदार अभिनय और हाथ से डायलॉग से सभी को लोटपोट करने वाले जॉनी की जिंदगी शुरुआत में उतनी आरामदायक नहीं थी जितना की अभी है अपने जीवन में काफी संघर्ष करने के बाद ही वॉइस मुकाम तक पहुंचे दोस्तों आज हम आपको उनके जीवन के बारे में हर वह रहस्य बताएंगे जिससे आप बिल्कुल अंजन है।

उनके शुरुआती जीवन की अगर बात करें तो वो उतना अच्छा नहीं रहा उनका जन्म 14 अगस्त साल 1957 में आंध्र प्रदेश के प्रकाशन जिले में हुआ था बेहद एक करीब परिवार से आने की वजह से उनका बचपन बहुत कष्ट पूर्ण रहा उनका वास्तविक नाम जॉन प्रकाश राव जानू माला है उन्होंने अपने शुरुआती पढ़ आंतरिक एजुकेशन सोसाइटी हाई स्कूल से पूरा किया लेकिन घर की आर्थिक स्थिति खराब होने की वजह से वह सिर्फ सातवीं तक ही पढ़ पाए और अपने भाइयों बहनों में सबसे बड़े होने की वजह से पिता के साथ घर की जिम्मेदारी उनके कंधों पर ए गई आपको बता दें की उनका बचपन मुंबई के धारा भी इलाके में बिता पैसों की तंगी के चलते वो अपने पिता के साथ हिंदुस्तान लीवर फैक्ट्री में कम करने लगे लेकिन कहते हैं ना की इंसान के अंदर की खूबी किसी ना किसी तरह से बाहर ए ही जाती है।

ठीक अगर हाथ जॉनी के साथ भी हुआ फैक्ट्री में कम करते-करते वो फैक्ट्री के कुछ बड़े अधिकारियों की नकल करने लगे लोगों को उनके द्वारा की गई मिमिक्री पर बहुत हंसी आती थी यहां तक की लोगों ने उनका नाम जॉनी लीवर रख दिया उन्हें फिल्म अभिनेताओं की मिमिक्री करने में बड़ा मजा आता था और धीरे-धीरे उसमें उन्होंने महारत हासिल कर ली उनकी इसी खासियत से उन्हें स्टेज शो करने का मौका मिला जहां उन पर बॉलीवुड एक्टर सुनील दत्त की नजर पड़ी उन्होंने उनकी कला को पहचाना और अपने फिल्म दर्द का रिश्ता में पहला ब्रेक दिया जो साल 1982 में आई थी उसमें जॉनी ने एक छोटी सी भूमिका निभाई थी ।

वहीं से उनके फिल्मी कैरियर का सफर शुरू हुआ जो फिर एक लंबे समय तक चला उसके बाद साल 1986 में आई फिल्म लव 86 में वो दिखाई दिए उसमें उन्होंने उत्तम का किरदार निभाया था वो उनकी दूसरी फिल्म थी उसी साल उन्होंने अपनी तीसरी फिल्म मैं बलवान में अभिनय किया उसके बाद साल 1987 में आई फिल्म जलवा में वह नसीरुद्दीन शाह के साथ नजर आए जीवन में वह थोड़ा बहुत दर्शकों के बीच प्रसिद्धि बटोरने में कामयाब हुए उनके कैरियर की वह चौथी फिल्म साबित हुई।

उसके बाद उन्होंने कई और फिल्मों में अभिनय किया लेकिन दर्शकों के बीच अपने अभिनय की धक जमाने में लगभग असफल रहे उसके बावजूद भी उनके द्वारा निभाए गए हाथ से भूमिकाएं दर्शकों के बीच थोड़ी-बहुत लोकप्रिय हुई।

साल 1993 में आई फिल्म बाजीगर से वो दर्शकों के बीच काफी लोकप्रिय हुए उसे फिल्म में वो बाबूलाल की किरदार में दिखाई दिए जिसमें उन्होंने शानदार अभिनय किया था दर्शकों ने उनके अभिनय को बहुत पसंद किया साल 1995 में आई फिल्म कारण अर्जुन में वो नजर आए उसे फिल्म में शाहरुख और सलमान खान मुख्य किरदार में नजर आए काफी लोकप्रिय हुई थी और हास्य किरदार के तौर पर जॉनी लीवर द्वारा निभाए गए किरदार को काफी पसंद किया गया था खासकर अशोक सराफ के द्वारा निभाए गए किरदार मुंशी को वो फिल्म बॉक्स ऑफिस पर सफल रही उनके कुछ प्रसिद्ध फिल्में जैसे तेजाब सूर्य इलाका कला बाजार बंद दरवाजा किशन कन्हैया हमला चमत्कार इंसानियत का देवता रूप की रानी चोरों का राजा मस्ती कानून अंजाम मैं खिलाड़ी तू अनाड़ी दर इंडियन सपूत कुछ-कुछ होता है।

और इसी प्रकार उन्होंने कई सारी फिल्मों में अभिनय किया है उन्होंने 80 90 के दशक के लगभग के सभी अभिनेताओं के साथ अभिनय किया है साल 1996 में आई फिल्म राजा हिंदुस्तानी में वह बलवंत की भूमिका में नजर आए द दर्शकों ने उनके उसे किरदार को बहुत पसंद किया और उसके लिए उन्हें अवार्ड भी दिया गया साल 2006 में आई फिल्म फिर हेरा फेरी में उन्होंने अभिनय किया हालांकि वो फिल्में एक कॉमेडी फिल्म थी और उसमें हर एक किरदार ने हाथ से भूमिका निभाई थी उसे फिल्म को आज भी लोग भूल नहीं पाते हैं खासकर बाबू भैया की किरदार को जो की सबसे फनी था उन्होंने तेलुगू और तमिल फिल्मों में भी कम किया है सालों 1995 में आईपीएल को फिल्म क्रिमिनल में वह नजर आए द हर साल 2007 में वो एक टीवी सीरियल में नजर आए जिसका शीर्षक था जॉनी अल रे उन्होंने अपने फिल्मी कैरियर में लगभग 350 से ज्यादा फिल्मों में कम किया जो किसी भी कलाकार के लिए किसी बड़ी उपलब्धि से कम नहीं है आपको बता दें की उन्होंने इंडिया में स्टैंड अप कॉमेडी का अग्रणी उन्हें माना जाता है।

ऐसा कहा जाता है की वो अपनी गरीबी से इतना ज्यादा परेशान हो गए द की उन्होंने ट्रेन के आगे कूद कर सुसाइड करने का फैसला किया उसके बाद वो जाकर ट्रेन की पटरी पर लेट गए ट्रेन तेजी से ए रही थी तभी उनको अपने भाई बहनों का ख्याल आया की उनके मरने के बाद उनका क्या होगा इसलिए वो पीछे है गए उन्होंने शेखर कपूर द्वारा निर्देशित कछुआ छाप के विज्ञापन में भी कम किया है वो सिर्फ बड़े पर्दे पर नहीं बल्कि छोटे पर्दे पर भी अपने कॉमेडी के चलते एसोसिएशन मुंबई के अध्यक्ष भी है उनके निजी जीवन की बात करें तो उनकी पत्नी का नाम सुजाता है जिससे उन्होंने साल 1984 में शादी की थी।

उनके दो बच्चे हैं एक पेटी और दूसरा बेटा बेटी का नाम जेमी है और वो एक स्टैंड अप कॉमेडियन और एक्ट्रेस है अपने पिता की तरह वो भी लोगों को अपने अंदाज़ में हस्ती है।

बेटे का नाम जैसी लेबर है जो की एक फिल्म एक्टर है जैसी भी कई फिल्मों में सहायक भूमिका निभाते हुए नजर आए हैं एक इंटरव्यू के दौरान उनसे ईसाई धर्म के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा की ये तो भगवान की इच्छा थी की मैंने ईसाई धर्म अपनाया और मैं हमेशा एक ही धर्म को मानता था लेकिन एक घटना ने मेरी जिंदगी ही बदल कर रखती जब मेरे बेटे को की बीमारी हो गई थी तब मैं अपने आप को असहाय महसूस करने लग गया था और अपने बच्चे के जीवन के लिए भगवान से मदद मांगता था जिसके कारण मैंने फिल्मों में कम करना भी बंद कर दिया था और अपना पूरा समय अपने बेटे के लिए प्रार्थना में ही लगा रहता था जब 10 दिन बाद मैंने बेटे का शारीरिक परीक्षण करवाया तो डॉक्टर भी यह देखकर हैरान रह गए की की बीमारी खत्म हो गई थी और वह मेरे लिए एक नए जीवन की शुरुआत थी जॉनी के पिता का नाम प्रकाश राव जानू माला था जो हिंदुस्तान लीवर फैक्ट्री में कम करते थे।

उनकी माता का नाम कुरु अम्मा जनुमाला था जैसे की हमने आपको की शुरुआत में ही कहा था की वो अपने भाइयों और बहनों में सबसे बड़े हैं उनके भाई का नाम जिमी मौसी से जो की एक एक्टर प्लेबैक सिंगर और इस स्टैंड अप कॉमेडियन है वो जॉनी से चौथा साल छोटे हैं लेकिन उन्होंने कभी अपने पैरों के बारे में सीक्रेट नहीं किया उन्हें फिल्मों में शानदार अभिनय और हास्य एबिन के लिए कई सारे पुरस्कारों से सम्मानित किया गया है जैसे फिल्म राजा हिंदुस्तानी के लिए साल 1997 में उन्हें सर्वश्रेष्ठ हास्य अभिनेता का स्टार सीन अवार्ड दिया गया था।

उसके बाद साल 1998 में फिल्म दीवाना मस्ताना के लिए उनको सर्वश्रेष्ठ हास्य अभिनेता का फिल्म फेर अवार्ड से सम्मानित किया गया साल 1999 में फिल्म दूल्हे राजा के लिए उन्हें सर्वश्रेष्ठ हास्य अभिनेता का फ़िल्मफ़ेयर अवार्ड से सम्मानित किया गया इसके अलावा भी उन्हें कई अन्य पुरस्कारों से सम्मानित किया गया है दोस्तों जॉनी ने रोते हुए इंसान को भी अपने अभिनय से हंसाया जिस मुकाम पर आज वो है शायद ही कोई दूसरा हास्य अभिनेता वहां तक पहुंचा हो कहते हैं ना अगर आपके अंदर काबिलियत है तो आपको वो सब कुछ मिलेगा जो आप पाना चाहते हो दर्शन उन्हें बहुत प्यार करते हैं क्योंकि उन्होंने उन्हें बहुत रोमांचित किया है अब वो बहुत कम फिल्मों में नजर आते हैं आज वो 65 साल के हो चुके हैं लेकिन फिल्मों में उनके योगदान के लिए उनके चाहने वाले उन्हें हमेशा याद करते रहेंगे उम्मीद है की वो आके भी फिल्मों में नजर आएंगे ।

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